ललितपुर। पुलिस कर्मियों पर दुष्कर्म के आरोप तो पहले भी लगते रहे हैं, लेकिन थाना परिसर में किसी सामूहिक दुष्कर्म से पीड़ित किशोरी के साथ थानाध्यक्ष ने दुष्कर्म किया हो यह पहला मामला है। हालांकि इस घटना से अधिकारी भी सकते में आ गए हैं। क्योंकि कुछ माह पहले एक युवती ने पुलिस के एक अधिकारी के खिलाफ पोर्टल पर छेड़छाड़ का आरोप लगाया था, जिसकी जांच में पुष्टि नहीं हो सकी। अब पाली थाना क्षेत्र में पहले हुए मामलों को खंगाला जा रहा है। जिससे पता चल सके कि इस तरह के आरोपों में कोई कार्रवाई की गई या समझौता कर निपटा दिए गए।
जिले में महिलाओं के साथ छेड़छाड़ के मामलों में कई बार खाकी पर दाग लग चुके हैं। वर्ष 2015-16 में सैक्स रैकेट स्कैंडल में फंसे एसओजी के सिपाही आलोक द्विवेदी को अदालत ने उम्रकैद की सजा सुनाई थी। इसके अलावा कुछ अन्य मामले भी सामने आए। जिसमें कुछ जांच में गलत मिले, तो कुछ को रफा-दफा कर दिया गया।
करीब दो माह पहले पुलिस के एक अधिकारी के खिलाफ ही छेड़छाड़ की शिकायत मुख्यमंत्री के पोर्टल पर की गई। मामले में जांच हुई तो फर्जी पाया गया। अब पाली की घटना से अफसर भी सकते में हैं। इस संबंध में जिलाधिकारी आलोक सिंह ने बताया कि घटना के संबंध में हर स्तर पर पुलिस गहराई से जांच कर रही है।
घटना में जो भी दोषी पाया जा रहा है, उसके खिलाफ कार्यवाही की जा रही। पुलिस सभी बिंदुओं पर गहराई से जांच कर रही है। – गिरिजेश कुमार सिंह, एएसपी।